New Delhi : उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने महिला संरक्षण के हित में एक और महत्वपूर्ण फैसला करते हुये मृतक आश्रित कोटे पर विवाहित पुत्री और परित्यक्ता पुत्री को नौकरी देने को मंजूरी दे दी है। प्रदेश में अभी तक यह व्यवस्था नहीं थी। मुख्यमंत्री के इस फैसले के बाद विवाहित और परित्यक्ता पुत्री के मृतक आश्रित कोटे पर सरकारी नौकरी पाने का रास्ता साफ हो गया है।
CM श्री @myogiadityanath जी ने मृतक आश्रित सेवायोजन के लिए कुटुंब की परिभाषा में विवाहित पुत्री एवं परित्यक्ता पुत्री को सम्मलित करने हेतु उप्र सेवाकाल में मृत सरकारी सेवकों के आश्रितों की भर्ती नियमावली-1974 के नियम -2(ग)(तीन) में संशोधन की अनुमति दी है।@spgoyal @sanjaychapps1 pic.twitter.com/wnFcE3B3jv
— CM Office, GoUP (@CMOfficeUP) June 23, 2020
मुख्यमंत्री ने इसके लिए मंगलवार 23 जून को को मृतक आश्रित को नौकरी के लिए कुटुंब की परिभाषा में विवाहित पुत्री और परित्यक्ता पुत्री भी शामिल करने के लिए उप्र सेवाकाल में मृत सरकारी सेवकों के आश्रितों की भर्ती नियमावली-1974 के नियम -2(ग)(तीन) में संशोधन की अनुमति दे दी है। मुख्यमंत्री ने महिला अधिकारों के संरक्षण के लिए हाईकोर्ट के आदेश के आधार पर यह फैसला किया है।
हाईकोर्ट के आदेश के अनुसार उत्तर प्रदेश सेवाकाल में मृत सरकारी सेवकों के आश्रितों की भती नियमावली 1974 में इसका प्रावधान करने की अनुमति दी गई है। इसके आधार पर कुटुंब के अंतर्गत मृत सरकारी सेवक की पत्नी या पति, पुत्र, दत्तक पुत्र और अविवाहित पुत्रितयां, आविवाहित दत्तक पुत्रियां, विधवा पुत्रियां और विधवा पुत्र वधुओं के साथ अब विवाहित पुत्रियां और परित्यक्ता पुत्रियां भी संबंधी होंगी।