New Delhi : भारतीय वायु सेना ने हमेशा देश का मान बढ़ाया है। वायुसेना का गठन 8 अक्टूबर 1932 को हुआ था। आज भारतीय वायुसेना दिवस है। भारतीय वायुसेना दिवस की 88वीं परेड गुरुवार को उत्तरप्रदेश के गाजियाबाद स्थित हिंडन एयरबेस पर हुई। इसमें पहली बार राफेल जेट भी शामिल हुआ। राफेल ने हॉकी के मैदान से भी छोटे रेडियस में टर्न कर 8 की शेप बनाई। इस समारोह में सीडीएस जनरल बिपिन रावत, आर्मी चीफ जनरल मनोज मुकुंद नरवणे, चीफ ऑफ नेवल स्टाफ एडमिरल करमबीर सिंह और वायुसेना चीफ आरकेएस भदौरिया मौजूद रहे।
#WATCH Indian Air Force fighter jet carries out vertical charlie manoeuvre at Hindon Air Base in Ghaziabad, as IAF celebrates its 88th anniversary today.#AirForceDay2020 pic.twitter.com/K68On8puHb
— ANI UP (@ANINewsUP) October 8, 2020
Air Force Day Parade 2020. Live from Air Force Station Hindan. https://t.co/QNWdvkvjZG
— Indian Air Force (@IAF_MCC) October 8, 2020
एयर फोर्स डे पर भारतीय वायुसेना के सभी वीर योद्धाओं को बहुत-बहुत बधाई। आप न सिर्फ देश के आसमान को सुरक्षित रखते हैं, बल्कि आपदा के समय मानवता की सेवा में भी अग्रणी भूमिका निभाते हैं। मां भारती की रक्षा के लिए आपका साहस, शौर्य और समर्पण हर किसी को प्रेरित करने वाला है।#AFDay2020 pic.twitter.com/0DYlI7zpe6
— Narendra Modi (@narendramodi) October 8, 2020
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज भारतीय वायुसेना दिवस की बधाई एक वीडियो ट्वीट कर दी – भारतीय वायुसेना के सभी वीर योद्धाओं को बहुत-बहुत बधाई। आप न सिर्फ देश के आसमान को सुरक्षित रखते हैं, बल्कि आपदा के समय मानवता की सेवा में भी अग्रणी भूमिका निभाते हैं। मां भारती की रक्षा के लिए आपका साहस, शौर्य और समर्पण हर किसी को प्रेरित करने वाला है।
क्या आपको पता है कि एयरफोर्स के सप्रीम कमांडर राष्ट्रपति होते हैं। उन्होंने ट्वीट किया- वायु सेना दिवस पर हमें वायु योद्धाओं, दिग्गजों और भारतीय वायु सेना के परिवारों पर गर्व है। हम उनका सम्मान करते हैं। राष्ट्र के आकाश को सुरक्षित रखने और मानवीय सहायता और आपदा राहत में सहायता करने में भारतीय वायुसेना के योगदान के लिये हम ऋणी हैं। राफेल, अपाचे और चिनूक को शामिल करने के साथ आधुनिकीकरण की चल रही प्रक्रिया भारतीय वायुसेना को और भी अधिक सामरिक सामरिक बल में बदल देगी। विश्वास है कि आने वाले वर्षों में, भारतीय वायु सेना प्रतिबद्धता और क्षमता के अपने उच्च मानकों को बनाये रखना जारी रखेगी।
The ongoing process of modernisation with induction of Rafale, Apache and Chinook will transform the IAF into an even more formidable strategic force. Confident that in the years to come, the Indian Air Force will continue to maintain its high standards of commitment & competence
— President of India (@rashtrapatibhvn) October 8, 2020
Greetings on Indian Air Force day!
From safeguarding our skies to assisting in all odds, our brave Air Force personnel have served the nation with utmost courage and determination. Modi govt is doing everything possible to keep our mighty air warriors roaring loud in the skies. pic.twitter.com/ioUCngM38i
— Amit Shah (@AmitShah) October 8, 2020
क्या आपको पता है कि एयरफोर्स के सप्रीम कमांडर राष्ट्रपति होते हैं। आज भारतीय वायुसेना दिवस के मौके पर जानिये इंडियन एयरफोर्स का रैंक स्ट्रक्चर। इंडियन एयरफोर्स के कमीशन्ड ऑफिसर : रैंक : मार्शल ऑफ द एयरफोर्स : मार्शल ऑफ द एयरफोर्स इंडियन एयरफोर्स की हाइएस्ट रैंक है। यह युद्ध के दौरान मिलने वाली एक पदवी है। यह फाइव-स्टार रैंक है। कई देशों में इस तरह की रैंक है लेकिन सभी इसका यूज नहीं करते। मार्शल ऑफ द एयरफोर्स अर्जन सिंह, आईएएफ में एकमात्र मार्शल ऑफ द एयरफोर्स रहे हैं।
रैंक : एयर चीफ मार्शल : यह इंडियन एयरफोर्स की दूसरी सबसे बड़ी रैंक है। यह फोर स्टार रैंक होती है। सिर्फ एयर चीफ मार्शल ही चीफ ऑफ द एयर स्टाफ (CAS) की पोजिशन लेते हैं। यह इंडियन एयरफोर्स के प्रोफेशनल हेड और कमांडर होते हैं। अभी CAS के पद पर एयर चीफ मार्शल आरकेएस भदौरिया अपनी सेवाएं दे रहे हैं। रैंक : एयर मार्शल : इंडियन एयरफोर्स में यह तीसरी रैंक होती है। इस पर काफी सीनियर अधिकारी काबिज होते हैं।
रैंक : एयर वाइस मार्शल : यह टू स्टार रैंक होती है। रैंक : एयर कॉमडोर : यह स्टार कैटेगरी की सबसे जूनियर रैंक है। यह एक सिंगल स्टार रैंक होती है। रैंक : ग्रुप कैप्टन यह सीनियर कमीशन्ड रैंक होती है। यह रैंक आर्मी के कर्नल के बराबर होती है। रैंक : विंग कमांडर : ग्रुप कैप्टर के बाद दूसरे नंबर की रैंक विंग कमांडर की होती है। हालांकि ये भी सीनियर कमीशन्ड रैंक कहलाती है। रैंक : स्क्वॉड्रन लीडर विंग कमांडर के बाद स्क्वॉड्रन लीडर होते हैं। रैंक : फ्लाइट लेफ्टिनेंट: यह भी कमीशन्ड एयर ऑफिसर की रैंक होती है, जो स्क्वॉड्रन लीडर के बाद आते हैं। इन्हें कभी भी सिर्फ लेफ्टिनेंट नहीं कहा जाता। रैंक : फ्लाइंग ऑफिसर : – यह भी कमीशन्ड रैंक है। इसे एयरक्राफ्ट को उड़ाने वाले ऑफिसर्स के साथ ही ग्राउंड ड्यूटी ऑफिसर और एयर क्रू ऑफिसर्स भी होल्ड कर सकते हैं।
Celebrating 88th anniversary of Indian Air Force day today, salute to all the brave heroes who fight for our country. You make us proud, sending you my best wishes & good health. Stand tall & fly high. ✈️🙏 #JaiHind #IndianAirForceDay pic.twitter.com/nPfbRY3xmm
— Suresh Raina🇮🇳 (@ImRaina) October 8, 2020
Warm greetings to everyone from the Indian Air Force fraternity on the ocassion of Air Force Day!
The way you continue to serve the nation selflessly & tirelessly is awe-inspiring. My best wishes to all our @IAF_MCC personnel & their families.#IndianAirForceDay
— Sachin Tendulkar (@sachin_rt) October 8, 2020
Team #Tejas wishing everyone #IndianAirforceDay, our film is an ode to our Air Force’s greatness, bravery and sacrifice….. Jai Hind @RonnieScrewvala @sarveshmewara1 pic.twitter.com/dU4OLov0t0
— Kangana Ranaut (@KanganaTeam) October 8, 2020
जूनियर कमीशन्ड ऑफिसर कौन होते हैं… रैंक : मास्टर वारंट ऑफिसर : जूनियर कमीशन्ड ऑफिसर में यह हाइएस्ट रैंक होती है। रैंक : वारंट ऑफिसर- यह जूनियर कमीशन्ड ऑफिसर में दूसरी सबसे बड़ी रैंक है। रैंक : जूनियर वारंट ऑफिसर- यह अधिकतर टेक्निकल लीडर होते हैं। नॉन कमीशन्ड ऑफिसर्स कौन होते हैं रैंक : सार्जेंट : जूनियर वारंट ऑफिसर के बाद सार्जेंट की रैंक आती है। रैंक : कॉर्परल यह मिलिट्री रैंक है, जो सैनिकों के समूह को देखते हैं। रैंक : लीडिंग एयरक्राफ्टमैन टेक्निकल यह कोई रैंक नहीं है लेकिन यह एक टाइटल है। रैंक : एयरक्राफ्ट मैन: यह इंडियन एयरफोर्स की सबसे निचली रैंक है।