New Delhi: आकांक्षा नोएडा के एक छोटे से घर में रहती हैं। उन्होंने सीबीएसई 12वीं बोर्ड परीक्षा में 92 प्रतिशत अंक प्राप्त किये हैं। उनके इतने अंक भी उनके परिवार की उम्मीद से ज्यादा हैं, ऐसा इसलिए क्योंकि आकांक्षा ऐसे परिवार से आती हैं जहां की आर्थिक स्थिति में परिवार का सही से पेट पाल पाना भी बहुत बड़ी बात है।
आकांक्षा के पिता राजेश्वर प्रसाद रिक्शा चालकर अपने परिवार को पालते हैं। अपनी इसी कमाई से उन्होंने अपनी बेटी को पढ़ाया है। वह अपनी बेटी को सफल बनाने के लिए तपती गर्मी से लेकर कपकपाती सर्दी में रिक्शा खींचते रहे हैं।
दूसरी तरफ अंकाक्षा ने भी अपने पिता के सपने को पूरा करने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ी। पढ़ने के प्रति उनकी लगन ऐसी रही है कि वह हर रोज 2.5km पैदल चल कर स्कूल जाया करती थीं। पढ़ाई के साथ-साथ वह घर के काम भी करती थी। वह स्कूल से लौटने के बाद झाड़ू-पोछा, बर्तन से लेकर खाना बनाने में मां मदद करती है और इसके बाद के समय में खूब मेहनत से पढ़ाई भी करती है। अकांक्षा वकील बनना चाहती हैं। मां का कहती हैं कि बेटी जो करना चाहती है, वे उसका पूरा सहयोग करेंगे।
बता दें कि 12 मई को केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (CBSE) ने 10वीं और 12वीं के बोर्ड रिजल्ट जारी किए गए थे। 10वीं में 93.12% और 12वीं में 87.33% छात्रों ने सफलता पाई है। वैसे तो हर रिजल्ट में टॉपर्स की बातें होती हैं लेकिन कुछ बच्चे ऐसे भी होते हैं जो भले ही टॉप ना कर पाए हों लेकिन उनके लिए अच्छे अंक लाना ही बहुत बड़ी उपलब्धि होती है। उनमें से ही एक अकांक्षा की कहानी है, जो सभी का दिल जीत रही है।