New Delhi : चीन के साथ तनातनी के बीच प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बीच मंगलवार को फोन पर बातचीत हुई। इस दौरान भारत-चीन विवाद, कोविड-19 की स्थिति और अन्य मुद्दों पर दोनों देशों के नेताओं के बीच चर्चा की गई। प्रधानमंत्री कार्यालय की तरफ से जारी बयान में कहा गया – राष्ट्रपति ट्रंप ने पीएम मोदी को यूएसए में होने वाले जी-7 शिखर सम्मेलन में शिरकत होने के लिए उन्हें न्योता दिया।
पीएमओ ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने अमेरिका हो रहे प्रदर्शनों को लेकर भी इस दौरान उनसे बात की और इस समस्या के जल्द समाधान होने की उम्मीद जताई। इसके साथ ही दोनों नेताओं ने भारत-चीन सीमा पर जारी तनाव को लेकर भी चर्चा की। पीएम मोदी ने इस दौरान उन्हें भारत-चीन सीमा पर बने हालात के बारे में रू-ब-रू कराया। इसके अलावा, दोनों देशों में कोविड-19 और विश्व स्वास्थ्य संगठन में सुधार की जरूरत पर चर्चा हुई।
PM Narendra Modi had a telephone conversation today with US Pres Donald Trump. Pres Trump extended an invitation to PM Modi to attend the next G-7 Summit to be held in USA: Prime Minister's Office pic.twitter.com/HhwLnhRJwH
— ANI (@ANI) June 2, 2020
प्रधानमंत्री मोदी ने ट्रंप के साथ बातचीत के बारे में ट्वीट करते हुए बताया कि “मेरे दोस्त के साथ शानदार और सकारात्मक बातचीत हुई। हमने उनके साथ जी-7 की अमेरिकी अध्यक्षता, कोविड-19 महामारी और अन्य मुद्दों पर चर्चा की।” पीएम मोदी ने आगे कहा कि कोविड-19 महामारी के पश्चात वैश्विक परिदृश्य में भारत और अमेरिका के बीच हुआ गहरा एक ठोस विचार-विमर्श एक महत्वपूर्ण स्तंभ बना रहेगा।
जी-7 शिखर सम्मेलन के लिए भारत, रूस, ऑस्ट्रेलिया और दक्षिण कोरिया को आमंत्रित करने की अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की योजना पर चीन ने मंगलवार को नाराजगी भरी प्रतिक्रिया जतायी और कहा कि बीजिंग के खिलाफ किसी गुटबंदी का प्रयास नाकाम साबित होगा।
समूह-7 दुनिया की शीर्ष सात विकसित अर्थव्यवस्थाओं का समूह है। इसमें अमेरिका, ब्रिटेन, फ्रांस, जर्मनी, इटली, जापान और कनाडा शामिल हैं। जलवायु परिवर्तन, सुरक्षा और अर्थव्यवस्था सहित विभिन्न वैश्विक मुद्दों पर चर्चा के लिए इन देशों के प्रमुखों की हर साल बैठक होती है। ट्रंप ने जी-7 की बैठक सितंबर तक के लिए स्थगित कर दी है। उन्होंने इच्छा व्यक्त की है कि इस ”पुराने पड़ गए संगठन का विस्तार किया जाए तथा इसमें भारत और तीन अन्य देशों को शामिल किया जाए तथा इसे जी-10 या जी-11 बनाया जाए।
भारत और तीन अन्य देशों को जी-7 शिखर सम्मेलन में आमंत्रित करने की ट्रंप की योजनाओं के बारे में पूछे जाने पर चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ लिजियन ने यहां मीडिया ब्रीफिंग में कहा- चीन का मानना है कि सभी अंतरराष्ट्रीय संगठनों और सम्मेलनों को विभिन्न देशों के बीच आपसी विश्वास बढ़ाने वाला होना चाहिए, जिससे बहुपक्षीयता कायम रह सके और विश्व शांति तथा विकास को बढ़ावा मिल सके।
उन्होंने कहा कि हमारा मानना है कि यह दुनिया भर के देशों की भारी बहुमत की भूमिका है। उन्होंने कहा कि चीन के खिलाफ कोई भी गुटबंदी का प्रयास विफल होगा। ट्रंप द्वारा भारत और तीन अन्य देशों को आमंत्रित किए जाने से चीन में बेचैनी की भावना है।