शिव से कैसा गहरा नाता है हनुमान और शनिदेव का… जानिये सच

New Delhi : सभी लोग भगवान हनुमान जी को संकटमोचन मानते हैं वहीं भगवान शनिदेव को गलती की सजा देने वाला माना जाता है।इन दोनों ही देवताओं का भगवान शिव के साथ गहरा संबंध है। जबकि हनुमान जी भगवान शिव के ही अंश है। वहीं शनिदेव को गहनध्यान के बाद भगवान शिव की शक्तियां प्राप्त हुई थी। इसके अलावा जो भगवान शिव की पूजा करते हैं उनको अपने आप ही शनि देवका आशीर्वाद प्राप्त हो जाता है। इन चीजों के अलावा इन दोनों देवताओं के बारे में शास्त्रों में कुछ और भी महत्वपूर्ण तथ्य वर्णित हैंजिनसे ताकत, चरित्र, समानता और भिन्नता सामने आती है।

शास्त्रों के अनुसार भगवान हनुमान और शनिदेव के बीच अनेक समानताएं है। सूर्या संहिता के अनुसार भगवान हनुमान जी का जन्मशनिवार को हुआ। भगवान हनुमान जी रूद्र अवतार है और रूद्र भगवान शिव का दूसरा नाम है। हनुमानशास्त्रानाम में एक नाम शनि देवका है। शास्त्रों में कई बार भगवान हनुमान जी और शनि देव का रंग समान होने की बात कहीं गई है। ऎसा माना जाता है कि भगवान हनुमान कायह रंग शनि देव की क्रूर दृष्टि की वजह से हुआ।

शनि देव के पिता सूर्यदेव भगवान हनुमान जी के शिक्षक है। शनिदेव की अपने पिता के साथ लड़ाई थी, लेकिन सूर्यदेव ने भगवान हनुमानको बहुत शक्तियां दी थी जिन्होंने हनुमान जी को महावीर बना दिया। शनि देव क्रूर और निर्मम प्रकृति के माने जाते हैं जबकि भगवानशिव और हनुमान जी को अत्यंत दयालु माना गया है।

भगवान शनि आग से पैदा हुए थे जबकि हनुमान जी हवा से पैदा हुए इसलिए उनको पवनपुत्र कहते है। एक ओर जहां शनिवार को तेलबेचना अशुभ माना जाता है हालांकि उसी दिन भगवान हनुमान जी को तेल चढ़ाना शुभ माना जाता है। जय शनिदेव।। जय बजरंगबली।।

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