New Delhi : किसान बिल आज रविवार 20 सितंबर को राज्यसभा से भी भारी शोरोगुल के बीच पास कर दिया गया। दो बिल फार्मर्स एंड प्रोड्यूस ट्रेड एंड कॉमर्स (प्रमोशन एंड फैसिलिटेशन) बिल और फार्मर्स (एम्पावरमेंट एंड प्रोटेक्शन) एग्रीमेंट ऑन प्राइस एश्योरेंस एंड फार्म सर्विस बिल पास हुआ। अब राष्ट्रपति के अनुमोदन के बाद यह कानून का रूप ले लेगा। बिल पास होने के दौरान तृणमूल कांग्रेस के राज्यसभा सांसद डेरेन ओ-ब्रायन ने सदन में रूल बुक फाड़ कर उड़ा दिया। सांसद ने उप सभापति हरिवंश की माइक तोड़ने की कोशिश भी की। काफी हंगामा मचा। विपक्षी दलों ने बिल पास होने के बाद कहा कि यह काला कानून है। इसका खामियाजा पूरा देश भुगतेगा।
Rajya Sabha: Continuos sloganeering by Opposition MPs in the well of the House, against the agriculture Bills https://t.co/26hIPYMl6N pic.twitter.com/DH2jgj06Z0
— ANI (@ANI) September 20, 2020
They have broken every rule of the Parliament. It was a historic day, in the worst sense of the word. They cut RSTV feed so the country couldn't see. They censored RSTV: TMC MP Derek O'Brien after uproar in the House on farm bills https://t.co/VltTgKOx5w
— ANI (@ANI) September 20, 2020
Delhi: Rajya Sabha MPs of Opposition parties protest at the Parliament premises after the House passed Farmers' and Produce Trade & Commerce (Promotion & Facilitation) Bill, 2020 & Farmers (Empowerment & Protection) Agreement on Price Assurance & Farm Services Bill, 2020 today. pic.twitter.com/WZpygnV9pR
— ANI (@ANI) September 20, 2020
मोदी सरकार के कृषि-विरोधी ‘काले क़ानून’ से किसानों को:
1. APMC/किसान मार्केट ख़त्म होने पर MSP कैसे मिलेगा?
2. MSP की गारंटी क्यों नहीं?मोदी जी किसानों को पूँजीपतियों का ‘ग़ुलाम' बना रहे हैं जिसे देश कभी सफल नहीं होने देगा।#KisanVirodhiNarendraModi
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) September 20, 2020
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने ट्वीट कर सवाल उठाया- मोदी सरकार के कृषि-विरोधी ‘काले क़ानून’ से किसानों को। 1. APMC/किसान मार्केट ख़त्म होने पर MSP कैसे मिलेगा? 2. MSP की गारंटी क्यों नहीं? हालांकि यह बिल कांग्रेस की ही देन है। कांग्रेस इसका समर्थन करती रही है। लेकिन अब कांग्रेस बिल का विरोध कर रही है। इससे पहले वोटिंग के दौरान सदन में जमकर हंगामा हुआ। विपक्षी सांसदों ने वेल में जाकर जमकर नारेबाजी की। सदन की कार्यवाही जारी रखने के लिये मार्शलों को बुलाना पड़ा।
इसी किसान बिल का विरोध करते हुये मंत्रिमंडल से इस्तीफा देनेवालीं शिरोमणि अकाली दल नेता हरसिमरत कौर की जगह कृषि मंत्री बनाये गये नरेंद्र सिंह तोमर ने सदन के पटल पर विधेयक रखते हुये कहा – दोनों बिल ऐतिहासिक हैं, इनसे किसानों की जिंदगी बदल जाएगी। किसान देशभर में कहीं भी अपना अनाज बेच सकेंगे। मैं उन्हें विश्वास दिलाता हूं कि बिलों का संबंध न्यूनतम समर्थन मूल्य से नहीं है।
आप के नेता और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने इस बिल का विरोध करते हुये ट्वीट किया- केंद्र के तीनों विधेयक किसानों को बड़ी कंपनियों के हाथों शोषण के लिये छोड़ देंगे। मेरी सभी ग़ैर भाजपा पार्टियों से विनती है कि राज्यसभा में एकजुट होकर इन विधेयकों का विरोध करें। सुनिश्चित करें कि आपके सभी MP मौजूद हों और वॉकआउट का ड्रामा ना करें। पूरे देश के किसान आपको देख रहे हैं। अकाली दल के सांसद नरेश गुजराल ने बिल को वापस सिलेक्ट कमेटी के पास भेजने की मांग की। इस बिल में कई खामियां हैं। इसे बिल से जुड़े सभी लोगों से चर्चा करने के बाद ही पास किया जाये।
आज पूरे देश के किसानों की नज़र राज्य सभा पर है। राज्य सभा में भाजपा अल्पमत में है। मेरी सभी ग़ैर भाजपा पार्टियों से अपील है कि सब मिलकर इन तीनों बिलों को हरायें, यही देश का किसान चाहता है। https://t.co/NcEX4aYFQz
— Arvind Kejriwal (@ArvindKejriwal) September 20, 2020
#WATCH Haryana: Police use water cannon to disperse Youth Congress workers protesting over #FarmBills, at Sadopur border in Ambala. pic.twitter.com/1OfFJlcKFo
— ANI (@ANI) September 20, 2020
Haryana: Farmers protest new agriculture law by blocking major road in Sirsa
"The govt should make laws making it punishable for private buyers to procure farm produces below MSPs. This will guarantee our sales," says a protester. pic.twitter.com/0fq64zQDd8
— ANI (@ANI) September 20, 2020
बिलों को लेकर पंजाब-हरियाणा के किसान प्रदर्शन कर रहे हैं। रविवार को भी बड़ी संख्या में किसान सड़कों पर उतरे। दिल्ली के हरियाणा-पंजाब बॉर्डर पर पुलिस की तैनाती बढ़ा दी गई है ताकि किसान दिल्ली में बवाल न कर सकें।