New Delhi : कांग्रेस-भाजपा में चीन के मुद्दे पर शुरू हुई बहस अब वंशवाद और भ्रष्टाचार के आरोपों तक पहुंच गई है। भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा ने लगातार दूसरे दिन गांधी परिवार पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा – यूपीए के समय प्रधानमंत्री नेशनल रिलीफ फंड का पैसा राजीव गांधी फाउंडेशन (आरजीएफ) को दिया गया था। सोनिया पीएमएनआरएफ के बोर्ड में भी थीं और आरजीएफ की अध्यक्ष भी थीं।
नड्डा ने कहा – देश के लोगों ने अपनी मेहनत की कमाई पीएम फंड में इसलिए दान दी थी, ताकि जरूरत के वक्त जनता की मदद की जा सके। इस फंड की रकम को एक परिवार के फाउंडेशन में डायवर्ट करना ना सिर्फ फ्रॉड है, बल्कि देश की जनता से धोखा भी है।
PMNRF, meant to help people in distress, was donating money to Rajiv Gandhi Foundation in UPA years.
Who sat on the PMNRF board? Smt. Sonia Gandhi
Who chairs RGF? Smt. Sonia Gandhi.
Totally reprehensible, disregarding ethics, processes and not bothering about transparency. pic.twitter.com/tttDP4S6bY
— Jagat Prakash Nadda (@JPNadda) June 26, 2020
जेपी नड्डा ने कहा- यूपीए कार्यकाल में राजीव गांधी फाउंडेशन (आरजीएफ) को पैसे दान किये जा रहे थे। पीएम फंड के बोर्ड में कौन बैठा था? सोनिया गांधी। आरजीएफ का अध्यक्ष कौन है? सोनिया गांधी। पूरी तरह से निंदनीय, नैतिकता की उपेक्षा, प्रक्रियाओं और पारदर्शिता को लेकर किसी को फिक्र नहीं थी। भारत के लोगों ने अपने साथी नागरिकों को जरूरतमंदों के समय मदद करने के लिये अपनी मेहनत की कमाई को पीएम फंड में दान किया था। इस सार्वजनिक धन को परिवार द्वारा संचालित एक फाउंडेशन में हस्तांतरित करना न केवल एक संगीन धोखाधड़ी है बल्कि भारत के लोगों के लिए एक बड़ा धोखा भी है।
नड्डा ने कहा है कि एक परिवार की दौलत की भूख की वजह से देश को बड़ा नुकसान हुआ। अपने फायदे के लिए की गई इस बेरोकटोक लूट पर कांग्रेस के राजवंश को माफी मांगनी चाहिए।
One family’s hunger for wealth has cost the nation immensely. If only they have devoted their energies towards more constructive agenda.
The Congress’ Imperial Dynasty needs to apologise to the unchecked loot for self-gains!
— Jagat Prakash Nadda (@JPNadda) June 26, 2020
इससे पहले गुरुवार को भाजपा अध्यक्ष ने कहा था कि 2005-06 में राजीव गांधी फाउंडेशन को चीन से 3 लाख डॉलर (तब 90 लाख रुपए) मिले थे। इसके बदले फाउंडेशन ने चीन के साथ फ्री ट्रेड को बढ़ावा देने वाली स्टडी करवाईं। फाउंडेशन की अध्यक्ष सोनिया गांधी हैं। जबकि, पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के अलावा राहुल गांधी, प्रियंका गांधी और पी. चिदंबरम ट्रस्टी हैं। कांग्रेस ने पलटवार करते हुए कहा कि सरकार 2005 में रहना छोड़े और 2020 के सवालों का जवाब दे।