New Delhi : भारत के साथ लद्दाख में सीमा पर तनाव को लेकर एक ओर जहां चीन शांति स्थापित करने की दुहाई दे रहा है, वहीं दूसरे देशों का समर्थन भारत को मिलता देख परेशान भी हो रहा है। चीन के सरकारी मुखपत्र अखबार पीपल्स डेली ने रूस को यहां तक नसीहत दे डाली है कि वह भारत को ‘संवेदनशील’ वक्त में हथियार न बेचे। रूस में विक्ट्री डे के जश्न पर भारत के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह मॉस्को पहुंचे हैं और इस दौरान डिफेंस डील को लेकर चर्चा की गई है।
Chinese Defense Minister Wei Fenghe will attend Russia's Victory Day parade in #Moscow on Wednesday, and likely hold a meeting with his Indian counterpart Rajnath Singh over resolving #China–#India border tensions, sources said pic.twitter.com/5vJZs7C1kO
— People's Daily, China (@PDChina) June 23, 2020
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक पीपल्स डेली ने फेसबुक पर ‘सोसायटी फॉर ओरियंटल स्टडीज ऑफ रूस’ नाम के ग्रुप में लिखा है- एक्सपर्ट्स कहते हैं कि अगर रूस को चीनी और भारतीयों के दिल पिघलाने हैं, तो भारत को ऐसे संवेदनशील वक्त में हथियार नहीं देने चाहिये। दोनों एशियाई ताकतें रूस की करीबी सहयोगी हैं। पीपल्स डेली ने कहा है- लद्दाख में चीन के साथ जारी तनाव के बीच भारत जल्द से जल्द 30 फाइटर जेट खरीदना चाहता है, जिनमें MiG29 और 12 सुखोई 30MK शामिल हैं।
दूसरी ओर मॉस्को पहुंचे रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने देश के उपप्रधानमंत्री युरी इवानोविक से चर्चा के बाद बताया कि रूस ने भरोसा दिलाया है कि जो समझौते दोनों देशों के बीच किए जा चुके हैं, उन्हें जारी रखा जाएगा। साथ ही यह भी कहा गया कि इन्हें तेजी से निपटाया जाएगा। दरअसल, भारत के लिए हाल में मुश्किलें बढ़ा रहे चीन और पाकिस्तान, दोनों के पास जो अडवांस्ड हथियार हैं, उन्हें देखते हुए भारत ने अपना जखीरा बढ़ाने का फैसला किया है और 5 अरब डॉलर यानी 40,000 करोड़ रुपये में एयर डिफेंस मिसाइल सिस्टम S-400 की डील की है।
#Opinion: There was a time when tensions between China and #India posed a greater danger. India did not become dependent on any other country then. It its farfetched to argue New Delhi is pushed to US arms amid the latest clash this time. @gideonrachman https://t.co/TTp7MoYzS5 pic.twitter.com/ZlS6baz1GR
— Global Times (@globaltimesnews) June 23, 2020
पीपल्स डेली से पहले चीन सरकार के मुखपत्र ग्लोबल टाइम्स ने खुलेआम चेतावनी देते हुए लिखा है कि 1962 के युद्ध में अमेरिका और रूस भारत के पक्ष में आए लेकिन चीन ने किसी की परवाह न करते हुए भारत को दूर खदेड़ दिया। ग्लोबल टाइम्स ने आगे लिखा कि अगर भारत एकतरफा सीमा प्रबंधन तंत्र का उल्लंघन करता है, तो चीन को भी जबरदस्ती जवाब देना होगा। किसी की सहायता भी भारत के काम नहीं आएगी।