New Delhi : बीएसएनएल के बाद एक और सरकारी कंपनी ने चीन को बड़ा झटका दिया है। इंडियन रेलवे के डेडिकेटेड फ्राइड कॉरिडोर कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड ने चीन के साथ अपना कॉन्ट्रैक्ट रद्द करने का फैसला किया है। सिग्नल लगाने का कॉन्ट्रैक्ट बीजिंग के नेशनल रेलवे रिसर्च एंड डिजाइन इंस्टीट्यूट ऑफ सिग्नल एंड कॉम्युनिकेशन को 2016 में अवार्ड किया गया था। चाइनीज कंपनी को कानपुर-दीन दयाल उपाध्याय सेक्शन पर 417 किलोमीटर की दूरी में सिग्नल लगाने का काम दिया गया था। इस ठेके की कीमत थी 471 करोड़ रुपये। कॉन्ट्रैक्ट को खत्म करने की घोषणा करते हुये कंपनी ने कहा कि चीनी कंपनी ने चार साल में महज 20 पर्सेंट का काम पूरा किया है।
We request Bollywood & Sports fraternity to join hands with CAIT for boycott of Chinese goods in the larger interest of the nation & urging celebrities who are endorsing Chinese products to immediately stop such endorsements: Confederation Of All India Traders (CAIT) pic.twitter.com/tMTrMihrzr
— ANI (@ANI) June 18, 2020
यह भी कहा है कि चीनी कंपनी समझौते के मुताबिक तकनीकी दस्तावेज प्रस्तुत करने के लिए अनिच्छुक है। चाइनीज कंपनी इंजिनीयर्स और अधिकृत अधिकारी साइट पर देने में सक्षम नहीं है, जोकि एक गंभीर अड़चन है। हर स्तर पर मीटिंग हो चुकी है, लेकिन कोई सुधार नहीं हुआ।
कंपनी ने यह फैसला ऐसे समय में लिया है जब पूर्वी लद्दाख में गलवानी घाटी में भारत और चीनी सैनिकों के बीच हिंसक झड़प हुई है, जिसमें भारत के 20 सैनिक शहीद हो गए हैं। इस मामले से जुड़े लोगों ने बताया कि चीन भारत के खिलाफ आर्थिक उपायों पर भी विचार कर रहा है।
नाम गोपनीय रखने की शर्त पर सरकार के चार अधिकारियों ने बताया कि कम से कम 100 चीनी प्रॉडक्ट्स के खिलाफ एंटी डंपिंग कार्रवाई की जा सकती है। भविष्य में चीन के निवेश जिसमें 5G मार्केट में चीनी कंपनियों की भागीदारी शामिल है, को रोका जा सकता है।
अधिकारियों ने कहा कि हालांकि, भारत अचानक कोई कदम नहीं उठाएगा। सोच-विचार करने के बाद सही समय पर एक्शन लिया जाएगा, जोकि देश की अखंडता, संप्रभुता और राष्ट्रहित के लिए जरूरी है। एक सरकारी अधिकारी ने कहा- उम्मीद है कि उन्हें (चीन को) सद्बुद्धि मिले। हमारे पास कई विकल्प हैं और मौके के मुताबिक उनका इस्तेमाल करने से नहीं हिचकिचाएंगे।
बिहार: पटना में लोगों ने गधों को चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग और रक्षा मंत्री की फोटो पहनाकर विरोध प्रदर्शन किया। 15-16 जून को गलवान घाटी में भारत-चीन के बीच हुई झड़प में भारत के 20 जवानों की जान चली गई थी। pic.twitter.com/DtlOmj2Pqv
— ANI_HindiNews (@AHindinews) June 18, 2020
इससे पहले टेलीकॉम मंत्रालय ने बीएसएनएल को चीनी कंपनियों के उपकरणों की उपयोगिता को कम करने का निर्देश दिया है। मंत्रालय की ओर से कहा गया है कि अपने कामों में चीनी कंपनियों की उपयोगिता को कम करे। टेलीकॉम मंत्रालय की ओर से जारी निर्देश में कहा गया है कि 4जी सुविधा के अपग्रेडेशन में किसी भी चाइनीज कंपनियों के बनाए उपकरणों का इस्तेमाल न किया जाए। इसके अलावा पूरे टेंडर को नए सिरे से जारी किया जाए। साथ में सभी प्राइवेट सर्विस ऑपरेटरों को चाइनीच उपकरणों पर निर्भरता कम करने का निर्देश देने की बात कही गई है।