कर्नल संतोष बाबू को तिरंगे में लिपटा देख रो रहा है पूरा देश, सुनील जिंदाबाद के नारों से गूंजा वातावरण

New Delhi : देश में अलग अलग जगहों पर तिरंगे में लिपटे वीर जवानों को अंतिम विदाई दी जा रही है। तेलंगाना के सूर्यापेट के कर्नल संतोष बाबू को तिरंगे में लिपटा देख परिजनों के आंसू नहीं रुक रहे थे। पटना में हवलदार सुनील कुमार की अंतिम यात्रा में लोगों की भारी भीड़ जुटी। जो लोग आखिरी यात्रा में शामिल नहीं हो सके, उन्होंने अपने घरों की छतों से ही अंतिम दर्शन किये और फूल बरसाये।

जवान अमन कुमार बिहार के समस्तीपुर के सुलतानपुर गांव के रहने वाले थे। एक साल पहले अमन की शादी हुई थी। बेटे की रवानगी की खबर पर पिता सुधीर कुमार सिंह आंसू नहीं रोक पा रहे थे। उन्होंने कहा – बेटा देश के लिए न्यौछावर होकर छाती चौड़ी कर गया। जरूरत होगी तो हम दूसरे बेटे को भी सेना में भेजेंगे।

लद्दाख की गलवान घाटी में फिलहाल हालात जस के तस बने हुए हैं। बातचीत अबतक बेनतीजा रही है। बुधवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने साफ कर दिया – उकसाने पर जवाब तो दिया जायेगा। इसके बाद चीनी बॉर्डर पर सेना अलर्ट पर है। उन्हें फ्री हैंड पहले ही दिया जा चुका है। गलवान घटना में देश की अस्मिता पर प्राण न्यौछावर करनेवाले भारतीय सेना के जवानों में पांच जवान बिहार के हैं। पटना जिले के बिहटा निवासी सुनील कुमार तिरंगे में लिपटे हुये बुधवार शाम विशेष विमान से पटना हवाईअड्डे लाये गये।

भारत के एक टॉप अधिकारी ने साफ कहा – अब भारत की सीमा प्रबंधन के लिए शांति बनाए रखने की नीति बदल गई है और चीन की पीपल्स लिबरेशन आर्मी के लिए जब चाहे चले आने का विकल्प खत्म हो गया है। चीन की तरफ से बुधवार को भी गलती नहीं मानी गई। उसका कहना है कि भारतीय सैनिक उनकी तरफ गए, जबकि भारतीय सेना उन्हें आगे आने से रोक रही थी। लद्दाख के गलवान घाटी में भारत और चीन की बातचीत बेनतीजा रही।

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