मरकज को खाली करते लोग

निजामुद‍्दीन इस्लामिक सेंटर में 24 लोग कोरोना पॉजिटिव निकले, 700 लोगों को क्वारैंटाइन

New Delhi : राजधानी के निजामुद्दीन स्थित इस्लामिक सेंटर में मौजूद 24 लोग पॉजिटिव निकले हैं। दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने बताया कि इससे निकाले गए लोगों में से अब तक 24 Corona पॉजिटिव पाए गए हैं। उन्होंने कहा कि हमें सही तरीके से नहीं पता है कि वहां कुल कितने लोग मौजूद थे। यह आंकलन है कि 1500-1700 लोग इस भवन में थे। अब तक 1034 लोग यहां से निकाले जा चुके हैं। 334 लोगों को अस्पतालों में भेजा जा चुका है और 700 को क्वारैंटाइन सेंटर में भेजा गया है।

इस्लामिक सेंटर से निकलकर जाते लोग

सतेंद्र जैन ने बताया कि हम यह नहीं बता सकते हैं कि इस्लामिक सेंटर में कितने लोग मौजूद थे, लेकिन यह तादाद 1500 से 1700 हो सकती है। 1033 लोगों को बाहर निकाला गया है। 300 लोगों को अस्पताल भेजा गया है। यह गतिविधि करने वाली कमेटी ने अपराध किया है। राजधानी में आपदा अधिनियम और संक्रामक रोग अधिनियम लागू है। इसके तहत 5 से ज्यादा लोग जमा नहीं हो सकते। इसके बाद भी इन्होंने यह किया। मैंने दिल्ली के एलजी को इनके खिलाफ कार्रवाई करने को लिखित में दिया है। इसके अलावा, दिल्ली सरकार एफआईआर दर्ज करने जा रही है। उधर, इस मामले में दिल्ली सरकार की उच्च स्तरीय बैठक चल रही है।
अनुमान है कि मरकज बिल्डिंग में दो हजार लोग मौजूद थे। इसकी जानकारी मिलने के बाद मंगलवार को जांच के लिए पुलिस पहुंची है। इलाके की ड्रोन से निगरानी की जा रही है। बिल्डिंग को सील कर दिया गया है। यहां तब्लीगी जमात के मरकज में 1 से 15 मार्च तक 5 हजार से ज्यादा लोग आए थे। इनमें इंडोनेशिया, मलेशिया और थाईलैंड के लोग भी शामिल थे। 22 मार्च को लॉकडाउन की घोषणा के बाद भी यहां 2 हजार लोग ठहरे हुए थे। इनमें से 200 लोगों के कोरोना संक्रमित होने की आशंका है। इन्हें सर्दी, खांसी और जुकाम की शिकायत है। निजामुद्दीन का यह मरकज इस्लामी शिक्षा का दुनिया में सबसे बड़ा केंद्र है। यहां कई देशों के लोग आते रहते हैं। मरकज से कुछ ही दूर सूफी संत निजामुद्दीन औलिया की दरगाह है। लेकिन, इन दिनों यह बंद है।
तेलंगाना में सोमवार को 6 संक्रमितों की मौत हुई। ये सभी दिल्ली के निजामुद्दीन स्थित मरकज के धार्मिक समारोह में शामिल हुए थे। तेलंगाना सरकार ने देर रात एक अपील भी जारी की। कहा- जो लोग निजामुद्दीन मरकज के कार्यक्रम में शामिल हुए थे, उन्हें जांच के के लिए सामने आना चाहिए। इसके पहले राज्य सरकार ने एक बयान जारी किया। कहा, “दिल्ली के निजामुद्दीन में 13 से 15 मार्च के बीच जिन लोगों ने धार्मिक आयोजन में हिस्सा लिया था, उनमें से कुछ को कोरोना संक्रमित पाया गया है। इनमें से कुछ तेलंगाना के थे।”

केमिकल से सैनेटाइज करवाता जवान

न्यूज एजेंसी के मुताबिक, कुल 6 लोगों की मौत हुई। दो ने हैदराबाद के गांधी अस्पताल, एक-एक ने निजी अस्पतालों में दम तोड़ा। बाकी दो की मौत निजामाबाद और गडबाल में हुई। बयान में इन लोगों की मौत का वक्त नहीं बताया गया।
मरकज में रुके लोगों से ज्यादातर अपने देशों और भारत स्थित शहरों में लौट गए थे। लौटकर गए लोगों में से 6 कोरोना पॉजिटिव पाए गए। एक व्यक्ति की मौत हो गई। हालांकि, मृतक की रिपोर्ट अभी नहीं आई है। स्वास्थ्य विभाग, डब्ल्यूएचओ, नगर निगम और पुलिस की टीमें यहां से लोगों को निकाल रही हैं।
पुलिस ने बताया कि लॉकडाउन से पहले ही यहां से भीड़ हटाने के लिए प्रयास किए जा रहे थे। लोगों से अपील की जा रही थी। लेकिन, तब्लीगी मरकज में जमा लोगों ने बात नहीं सुनी। यहां रहने वाले लोगों में ज्यादातर लोगों की उम्र 60 साल से ऊपर है। मरकज के आसपास के इलाके को पूरी तरह सील कर दिया गया है। पुलिस इस क्षेत्र की ड्रोन से निगरानी कर रही है।

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